डीईओ के खिलाफ प्रदर्शन : पश्चिम चंपारण में शिक्षकों ने खोला मोर्चा, 14 हजार शिक्षक निकालेंगे यात्रा

पश्चिम चंपारण के शिक्षकों ने जिला शिक्षा पदाधिकारी के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। 14 हजार से अधिक शिक्षक एक जुट हो गये हैं। इसमें प्राथमिक , माध्यमिक , उच्च +2विधालय के शिक्षक शामिल हैं। जिला शिक्षा पदाधिकारी रजनीकान्त प्रवीण के खिलाफ उन्मूलन यात्रा की शुरुआत करेंगे। 30 जनवरी को महात्मा गांधी की कर्म भूमी कहलाने वाली जगह भीतीहरवा गांधी आश्रम से यात्रा की शुरूआत होगी। इसको लेकर जिला प्राथमिक शिक्षक संघ भवन बेतिया में बैठक की गई। इस बैठक में सैकड़ो की संख्या में शिक्षक शामिल हुए... बिहार राज्य प्राथमिक शिक्षक संघ के महासचिव नागेंद्र नाथ शर्मा के नेतृत्व मे अपनी आवाज बुलंद की... डीईओ रजनीकांत प्रवीण पर रिश्वत मांगने और नहीं देने पर प्रताड़ित करने का आरोप लगाया है। ऑफिस टाइमिंग के दौरान ऑफिस में डीईओ पर भोज के आयोजन का भी आरोप लगाया।

डीईओ के खिलाफ प्रदर्शन : पश्चिम चंपारण में शिक्षकों ने खोला मोर्चा, 14 हजार शिक्षक निकालेंगे यात्रा

West Champaran के शिक्षकों ने District Education Officer के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। DEO Rajnikant Pravin पर रिश्वत के लिये शिक्षकों को बेवजह प्रताड़ित करने, रजिस्टर जांच के नाम पर पैसे का लेन देन, कार्यालय मे काम के समय भोज कराने का आरोप लगाया है। डीईओ के खिलाफ जिले के 14 हजार से अधिक शिक्षक उन्मूलन यात्रा निकालेंगे। इसको लेकर बैठक की गई। 30 जनवरी को यात्रा निकालने पर सहमती बनी। बैठक के बाद शिक्षक प्राथमिक शिक्षक संघ भवन से पैदल मार्च निकाला। शिक्षा कार्यालय में मार्च का समापन हुआ। मार्च के दौरान शिक्षकों ने जिला शिक्षा पदाधिकारी के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। Bihar State Primary Teachers Association (बिहार राज्य प्राथमिक शिक्षक संघ) प्रदेश महासचिव नागेंद्रनाथ शर्मा ने बताया की डीईओ ऑफिस में भ्रष्टाचार चरम सीमा पर है। जांच के नाम पर डीईओ शिक्षकों से पैसे की उगाही करते हैं। उन्हें प्रताड़ित करते हैं। किरानी के जरीये सभी कुछ मैनेज किया जाता है। उन्होंने कहा कि इस मसले को लेकर वो कई बार डीईओ से मिले। उनसे बात की। हर बार उन्होंने आगे से ऐसा नहीं करने का आश्वासन दिया। 

State General Secretary Nagendranath Sharma ने कहा कि जिले में नियमों को ताक पर रखकर काम किये जा रहे हैं। शिक्षा विभाग के आदेश के बगैर शिक्षकों को दूससे विद्यालय में प्रतीनियोजित किया जा रहा है। कई ऐसे शिक्षक हैं जो कभी विद्यालय नहीं गये, लेकिन घर बैठे उन्हे सैलरी मिल जाती है। नागेन्द्र नाथ शर्मा ने बताया कि 30 हजार रुपये लेकर शिक्षकों को प्रतीनियोजित कर दिया जा रहा है। जिला शिक्षा पदाधिकारी डिप्टेशन के नाम पर कुटीर उद्योग चला रहे हैं। साथ ही उन्होंने यह भी बताया कि जब डीपीओ विद्यालय का निरीक्षण करते हैं तो ये बातें सामने नहीं आती। स्कूल सुचारू रूप से चल रहा है, ऐसा रजिस्टर में लिखा जाता है। बेतिया आने पर रजिस्टर नहीं दिखाने के नाम पर स्पष्टीकरण मांगा जाता है। नागेन्द्र नाथ ने कहा कि जरूरत पड़ने पर उन कागजातों को सार्वजनिक भी कर दिया जायेगा। इस मामले में शिक्षा मंत्री सहीत सभी वरीय अधिकारीयों को आवेदन देकर जांच की मांग की गई है। 

इस मामले मे District Education Officer Rajnikant Praveen ने सभी आरोपों को निराधार बताया। उन्होंने कहा कि मुझे नहीं मालूम है कि कौन, किसे और कहां भोज दे रहा है। डीईओ कुछ भी बोलें लेकिन उनके ऑफिस में भोज के आयोजन का वीडियो वायरल हो रहा है। जिला शिक्षा पदाधिकारी के दफ्तर में सीसीटीवी लगाये गये हैं, जिसमें भोज की तस्वीरें कैद हो गई है। वहीं डीईओ ने शिक्षकों को प्रतिनियोजित करने के मसले पर कहा कि जो भी काम हो रहा है सभी नियमसंगत हैं। नियमों को देखते हुए ही शिक्षकों को प्रतीनियोजित किया गया है। साथ ही उन्होंने कहा कि जहां तक पैसों के उगाही का सवाल है तो जिन्हे ऐसा लगता है वो निगरानी विभाग में मेरी शिकायत कर सकते हैं।