पटना में BJP दफ्तर के पास आत्मदाह की कोशिश, वार्ड संघ के दो नेता हिरासत में, पहले से अलर्ट थी पुलिस और फायर ब्रिगेड की टीम
राजधानी पटना में उस समय हड़कंप मच गया जब वार्ड संघ के प्रदेश अध्यक्ष गणेश कुमार चौधरी और सदस्य कमोद कुमार ने BJP कार्यालय के पास आत्मदाह की कोशिश की। हालांकि समय रहते पुलिस ने दोनों को हिरासत में ले लिया और बड़ा हादसा टल गया।वार्ड संघ के नेता अपनी 9 सूत्री मांगों को लेकर लंबे समय से संघर्षरत थे। मांगें पूरी नहीं होने पर उन्होंने आत्मदाह की चेतावनी दी थी। इसको लेकर पुलिस और अग्निशमन विभाग....
                                
राजधानी पटना में उस समय हड़कंप मच गया जब वार्ड संघ के प्रदेश अध्यक्ष गणेश कुमार चौधरी और सदस्य कमोद कुमार ने BJP कार्यालय के पास आत्मदाह की कोशिश की। हालांकि समय रहते पुलिस ने दोनों को हिरासत में ले लिया और बड़ा हादसा टल गया।वार्ड संघ के नेता अपनी 9 सूत्री मांगों को लेकर लंबे समय से संघर्षरत थे। मांगें पूरी नहीं होने पर उन्होंने आत्मदाह की चेतावनी दी थी। इसको लेकर पुलिस और अग्निशमन विभाग पहले से ही अलर्ट पर थे।
थानाध्यक्ष राजन कुमार ने दी जानकारी
थानाध्यक्ष राजन कुमार ने जानकारी दी कि उन्हें आत्मदाह की सूचना पहले ही मिल गई थी। समय रहते पुलिस और दमकल की टीम BJP दफ्तर के पास तैनात हो चुकी थी। जैसे ही प्रदेश अध्यक्ष और उनके सहयोगी वहां पहुंचे, उन्हें हिरासत में लेकर थाने लाया गया।फिलहाल दोनों को थाने में रखा गया है और आगे की पूछताछ जारी है। बता दें कि बिहार में स्थानीय निकाय प्रतिनिधियों की नाराजगी अब सड़क पर उतर कर आत्मदाह की चेतावनी तक पहुंच चुकी है। यह केवल प्रशासन ही नहीं, बल्कि पूरे सियासी तंत्र के लिए चेतावनी है।
9 सूत्री मांग
*वार्ड क्षेत्र में क्रियान्वित प्रत्येक योजना का कार्य संबंधित वार्ड सदस्य को दिया जाए। योजना के नाम और राशि निर्धारित किया जाए।
*वार्ड क्रियान्वयन प्रबंधन समिति कार्य संचालन नियमावली 2017 के आलोक में वार्ड सदस्यों को वार्ड क्षेत्र के विकास के लिए वित्तीय राशि उपलब्ध कराई जाए।
*ग्राम पंचायत में चल रहे भारत सरकार एवं बिहार सरकार के द्वारा संचालित मनरेगा योजना को वार्ड सदस्यों के द्वारा कराया जाए
*वार्ड क्षेत्र में नल जल योजना संचालन एवं मरम्मती का कार्य वार्ड सदस्यों को सौंपा जाए ताकि वार्ड क्षेत्र की जनता को शुद्ध पानी समय से उपलब्ध कराया जा सके।
*केंद्र सरकार एवं राज्य सरकार के द्वारा पंचायत के वार्ड क्षेत्र में संचालित सभी योजना की अनुशंसा वार्ड सदस्यों द्वारा करवाई जाए।
*73वें संशोधन में पंचायती राज व्यवस्था में वार्ड सदस्यों के लिए अधिकार नहीं है, जो लागू किया जाए
*वार्ड सदस्यों को प्रति माह मिलने वाले 800 रुपए की जगह 15000 रुपए दिए जाए
*वार्ड सदस्यों को MLA,MP, MLC की तरह पेंशन योजना जोड़ी जाए।
*वार्ड सदस्यों को अन्य जनप्रतिनिधियों की तरह एवं दुर्घटना बीमा के तहत 5000000 रुपए दिए जाए।
*पंचायती राज अधिनियम में वार्ड सदस्यों को धारा 70 के तहत लोक सेवक घोषित किया गया है।
दोनों को थाने पर रखा गया है। 








                    
                
                    
                
                    
                
                    
                
                    
                
                    
                
                    
                




