हाजीपुर में रेलवे कंस्ट्रक्शन ऑफिस में CBI का छापा, 1 करोड़ की रिश्वत लेते डिप्टी चीफ इंजीनियर गिरफ्तार, नोट गिनने के लिए मंगानी पड़ी मशीन

हाजीपुर में सोमवार को सीबीआई ने रेलवे निर्माण विभाग के डिप्टी चीफ इंजीनियर आलोक कुमार को एक करोड़ रुपये की रिश्वत लेते हुए रंगेहाथ गिरफ्तार किया। हाजीपुर जंक्शन परिसर स्थित कार्यालय में की गई इस रेड के दौरान पेपर में लपेटकर रखा 1 करोड़ से अधिक कैश बरामद किया गया। भारी मात्रा में नोट मिलने के कारण नोट गिनने की मशीन मंगवानी पड़ी।सीबीआई की कार्रवाई करीब 12 घंटे...

हाजीपुर में रेलवे कंस्ट्रक्शन ऑफिस में CBI का छापा, 1 करोड़ की रिश्वत लेते डिप्टी चीफ इंजीनियर गिरफ्तार, नोट गिनने के लिए मंगानी पड़ी मशीन

हाजीपुर में सोमवार को सीबीआई ने रेलवे निर्माण विभाग के डिप्टी चीफ इंजीनियर आलोक कुमार को एक करोड़ रुपये की रिश्वत लेते हुए रंगेहाथ गिरफ्तार किया। हाजीपुर जंक्शन परिसर स्थित कार्यालय में की गई इस रेड के दौरान पेपर में लपेटकर रखा 1 करोड़ से अधिक कैश बरामद किया गया। भारी मात्रा में नोट मिलने के कारण नोट गिनने की मशीन मंगवानी पड़ी।सीबीआई की कार्रवाई करीब 12 घंटे तक चली। इस दौरान 12 अधिकारियों की टीम ने ऑफिस की तलाशी लेकर कई महत्वपूर्ण फाइलें और दस्तावेज जब्त किए।सीबीआई ने इस मामले में कुल 5 लोगों को गिरफ्तार किया है। इस मामले में आलोक कुमार, आलोक दास (क्लर्क), माणिक दास (चतुर्थ वर्गीय कर्मी) और दो ठेकेदार कर्मियों को गिरफ्तार किया गया।

सीबीआई की टीम ने रेड की
मीडिया रिपोर्टस के मुताबिक सीबीआई को इनपुट मिला था कि 15 नवंबर को निजी ठेकेदार गोविंद भुल्लर की ओर से रिश्वत की रकम हाजीपुर लाने की तैयारी है।आरोप है कि सूरज प्रसाद ने दो अलग-अलग जगहों से 50 लाख और 42 लाख रुपये जुटाए, जिनका उपयोग रिश्वत के तौर पर होना था। जानकारी पुख्ता होने पर सीबीआई की टीम ने रेड की।CBI ने बताया कि उपमुख्य अभियंता आलोक कुमार, निजी ठेकेदार गोविंद भुल्लर, सूरज प्रसाद और राजा की मिलीभगत थी। गलत बिल, मेजरमेंट बुक में हेरफेर और खराब निर्माण सामग्री की अनदेखी कर ठेकेदार को फायदा पहुंचाया गया था। इससे रेलवे को नुकसान हुआ।

तैनाती दो साल पहले हाजीपुर में की गई थी
रेलवे के निर्माण विभाग का कार्यालय पटना के महेंदू में है। लेकिन हाजीपुर-सुगौली रेलखंड के निर्माण को लेकर हाजीपुर कार्यालय से उसकी निगरानी की जा रही थी। निर्माण कार्य को लेकर ही आलोक कुमार की तैनाती दो साल पहले हाजीपुर में की गई थी।बताया गया कि सीबीआई के अधिकारी इंजीनियर की तस्वीर भी अपने साथ लेकर आए थे। वहीं जांच पड़ताल के लिए रात 12 बजे के करीब अधिकारियों ने निर्माण कार्य में लगे ठेकेदार और एक अन्य को भी कार्यालय में बुलाया।