बिहार चुनाव 2025: पूर्व सांसदों के बेटे होंगे उम्मीदवार? फतुहा और दानापुर में LJP(R) की रणनीति तैयार

बिहार विधानसभा चुनाव 2025 को लेकर एनडीए में सीट बंटवारे की औपचारिक घोषणा के बाद अब संभावित प्रत्याशियों के नामों को लेकर चर्चाएं तेज़ हो गई हैं। चिराग पासवान के नेतृत्व वाली लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) [LJP(R)] को गठबंधन में 29 सीटें मिली हैं, जिनमें दानापुर और फतुहा जैसी अहम सीटें भी शामिल हैं।अब इन दोनों सीटों पर पूर्व सांसदों के बेटों को प्रत्याशी बनाए जाने की संभावना.....

बिहार चुनाव 2025: पूर्व सांसदों के बेटे होंगे उम्मीदवार? फतुहा और दानापुर में LJP(R) की रणनीति तैयार

बिहार विधानसभा चुनाव 2025 को लेकर एनडीए में सीट बंटवारे की औपचारिक घोषणा के बाद अब संभावित प्रत्याशियों के नामों को लेकर चर्चाएं तेज़ हो गई हैं। चिराग पासवान के नेतृत्व वाली लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) [LJP(R)] को गठबंधन में 29 सीटें मिली हैं, जिनमें दानापुर और फतुहा जैसी अहम सीटें भी शामिल हैं।अब इन दोनों सीटों पर पूर्व सांसदों के बेटों को प्रत्याशी बनाए जाने की संभावना जताई जा रही है।

फतुहा से रणधीर यादव का नाम सबसे आगे
सूत्रों की माने तो फतुहा सीट से पूर्व सांसद सुभाष यादव के बेटे रणधीर यादव को टिकट मिलने की प्रबल संभावना है। पार्टी सूत्रों के मुताबिक रणधीर यादव काफी समय से पार्टी में सक्रिय हैं और उन्होंने नव संकल्प यात्रा के दौरान ज़मीनी स्तर पर बेहतरीन प्रदर्शन किया था।रणधीर को चिराग पासवान और प्रदेश अध्यक्ष अरुण भारती की पहली पसंद माना जा रहा है।पार्टी के भीतर उन्हें मेहनती और जमीनी नेता की छवि मिली है।स्थानीय कार्यकर्ताओं में भी उनके नाम को लेकर उत्साह है।

दानापुर से अभिमन्यु यादव के नाम पर चर्चा
वहीं दूसरी ओर, दानापुर सीट से बीजेपी नेता और पूर्व सांसद  रामकृपाल यादव  के बेटे  अभिमन्यु यादव को एलजेपी (रामविलास) के टिकट पर चुनाव लड़ाने की अटकलें लगाई जा रही हैं।सूत्रों के अनुसार, यह सीट अब LJP(R) के खाते में है और एनडीए गठबंधन की आपसी सहमति से अभिमन्यु यादव को यहां से उतारा जा सकता है।इससे पार्टी को मजबूत चेहरा और स्थानीय समर्थन दोनों मिल सकते हैं।

कल होगा सीटों का फाइनल ऐलान, बंटेगा सिंबल
एनडीए में सीट शेयरिंग के बाद अब कल यानी 14 अक्टूबर को यह स्पष्ट हो जाएगा कि कौन-सी सीट पर कौन सी पार्टी चुनाव लड़ेगी। गठबंधन की ओर से फाइनल सूची जारी की जाएगी, जिसके बाद प्रत्याशियों को पार्टी सिंबल देना शुरू किया जाएगा।इन दोनों सीटों पर पूर्व सांसदों के बेटों की संभावित दावेदारी से साफ है कि LJP(R) जमीनी पकड़ और राजनीतिक पहचान को प्राथमिकता दे रही है।इससे पार्टी को स्थानीय स्तर पर पहचान मजबूत करने का मौका मिलेगा।