बिहार में शिक्षा व्यवस्था में बड़ा बदलाव: नीतीश सरकार बनाएगी अलग 'उच्च शिक्षा विभाग'!, देश का दूसरा राज्य बनेगा

बिहार की नीतीश सरकार ने राज्य की शिक्षा प्रणाली में व्यापक और ऐतिहासिक सुधार की दिशा में एक बड़ा कदम उठाया है। अब बिहार में स्कूल शिक्षा और उच्च शिक्षा के लिए अलग-अलग विभाग बनाए जाएंगे।मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की इस घोषणा के बाद बिहार में 'स्कूल शिक्षा' और 'उच्च शिक्षा' के लिए अलग-अलग विभाग और मंत्री हो सकते हैं। इस निर्णय के बाद बिहार देश का दूसरा राज्य बन जाएगा, जहां शिक्षा विभाग दो हिस्सों ....

बिहार में शिक्षा व्यवस्था में बड़ा बदलाव: नीतीश सरकार बनाएगी अलग 'उच्च शिक्षा विभाग'!, देश का दूसरा राज्य बनेगा

बिहार की नीतीश सरकार ने राज्य की शिक्षा प्रणाली में व्यापक और ऐतिहासिक सुधार की दिशा में एक बड़ा कदम उठाया है। अब बिहार में स्कूल शिक्षा और उच्च शिक्षा के लिए अलग-अलग विभाग बनाए जाएंगे।मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की इस घोषणा के बाद बिहार में 'स्कूल शिक्षा' और 'उच्च शिक्षा' के लिए अलग-अलग विभाग और मंत्री हो सकते हैं। इस निर्णय के बाद बिहार देश का दूसरा राज्य बन जाएगा, जहां शिक्षा विभाग दो हिस्सों में बंटेगा और दो अलग-अलग विभाग बनाए जाएंगे।इससे पहले यह मॉडल केवल छत्तीसगढ़ में सफलतापूर्वक लागू है।हालांकि इस संबंध में आधिकारिक अधिसूचना (Official Notification) अभी जारी नहीं हुई है, लेकिन मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की घोषणा ने तस्वीर स्पष्ट कर दी है कि बदलाव तय है।

प्रशासनिक ढांचे में बड़ा सुधार
सीएम नीतीश कुमार ने राज्य में 1 करोड़ रोजगार देने के रोडमैप के साथ प्रशासनिक ढांचे में भी बड़े बदलावों की घोषणा की। सबसे महत्वपूर्ण फैसला शिक्षा विभाग का विभाजन है।अब तक प्राथमिक विद्यालय से लेकर विश्वविद्यालय तक की जिम्मेदारी एक ही विभाग और एक ही मंत्री के पास होती थी लेकिन अब इसे दो विभागों में बांटा जाएगा।  स्कूली शिक्षा विभाग: जो प्राथमिक, मध्य और उच्च माध्यमिक विद्यालयों (कक्षा 1 से 12) की जिम्मेदारी संभालेगा और उच्च शिक्षा विभाग:  जो कॉलेजों, विश्वविद्यालयों, अनुसंधान और तकनीकी शिक्षा पर फोकस करेगा।

उच्च शिक्षा की उपेक्षा दूर करने की कोशिश
बता दें कि बिहार में शिक्षा विभाग वर्षों से सबसे बड़ा और जटिल विभाग माना जाता है।लाखों शिक्षकों की नियुक्ति से लेकर स्कूली योजनाओं के भारी कामकाज के कारण उच्च शिक्षा अक्सर पीछे छूट जाती थी। सरकार का मानना है कि अलग उच्च शिक्षा विभाग बनने से विश्वविद्यालयों की कार्यप्रणाली और क्वालिटी में सुधार आएगा। बता दें कि बिहार से पहले देश में केवल छत्तीसगढ़ ही ऐसा राज्य है, जहां वर्तमान में यह व्यवस्था सफलतापूर्वक चल रही है। वहां स्कूल शिक्षा मंत्री गजेंद्र यादव और उच्च शिक्षा मंत्री टंकराम वर्मा हैं। दो स्वतंत्र मंत्रालयों की वजह से वहाँ शिक्षा व्यवस्था में उल्लेखनीय सुधार देखने को मिल रहे हैं। बिहार भी इसी मॉडल को अपनाकर शिक्षा प्रणाली को अधिक प्रभावी और सुव्यवस्थित बनाने की तैयारी कर रहा है।